Alibaba chalis chor story in hindi
अलीबाबा और चालीस चोर की कहानी (Alibaba chalis chor hindi story) बहुत अच्छी है, इसमें अलीबाबा चालीस चोर को बहुत मुश्किल से मारता है, उसके बाद उस गुफा से बहुत सी स्वर्ण मुद्रा लाता है, यह कहानी आपको बहुत पसंद आएगी.
अलीबाबा और चालीस चोर की कहानी : Ali baba 40 chor
यह अली बाबा की कहानी है अलीबाबा का जीवन बहुत ही मुश्किलों से कट रहा था अलीबाबा बहुत ही गरीब था जो कि अपनी वह लकड़ियां काट कर जंगल से लाता था और उन्हें बेचकर अपना घर चला रहा था अलीबाबा और मीरकासिम दो भाई थे मीर कासिम बड़ा था और वह बहुत ही धनवान था अलीबाबा छोटा था और वह बहुत ही गरीब था मीर कासिम बहुत ही तेज इंसान था
जबकि अलीबाबा बहुत ही सीधा सादा था अलीबाबा 1 दिन जंगल से लकड़ियां लेने के लिए जा रहा था तभी उसने कुछ देर बाद कुछ घोड़ों की आवाज सुनाई दी अलीबाबा घोड़ों की आवाज सुनकर डर गया था इसलिए छुप कर देख रहा था कि इतने सारे घोड़े कहां जा रहे हैं कुछ देर बाद बहुत सारे घोड़े एक गुफा के सामने रुक गए और उस गुफा के सामने रुक कर उन्होंने एक मंत्र बोला जो था कि “खुल जा सिम सिम” इसके बाद गुफा का दरवाजा खुल गया और सभी घोड़े अंदर चले गए यह देखकर अलीबाबा बहुत डर गया था
क्योंकि गुफा का दरवाजा कैसे खुल सकता है वह यह जानने के लिए वहीं पर छुपा रहा कुछ देर बाद सभी घोड़े बाहर आ गए और उनके सरदार ने एक मंत्र बोला “बंद हो जा सिम सिम” और गुफा का दरवाजा बंद हो गया इसके बाद से चालीस चोर वहां से चले गए अलीबाबा के मन में यह इच्छा हो रही थी कि वह अंदर जाकर देखें कि अंदर क्या है अलीबाबा गुफा के सामने गया और उसने भी वही मंत्र बोला उसके बाद दरवाजा खुल गया और वह अंदर चला गया
जब वह अंदर गया तो उसने देखा कि यहां तो बहुत सारी स्वर्ण मुद्राएं, सोना चांदी भरा हुआ है अलीबाबा समझ चुका था कि यहां पर चोर अपना खजाना छुपाते हैं अलीबाबा ने अपने गधे को अंदर बुलाया और उस पर थोड़ी सी अशरफिया लादकर अपने घर को वापस चला गया जब अलीबाबा अपने घर गया तो वह नहीं समझ पा रहा था कि यह अशरफिया कितने तोले की होंगी इसलिए उसने अपने भाई से तोलने के लिए तराजू मंगवाई बड़े भाई को शक हो रहा था कि अलीबाबा ऐसा क्या तोल रहा है जो उसके पास भारी मात्रा में है
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क्योंकि तराजू उसे क्यों चाहिए जबकि उसके पास तो कुछ भी नहीं है इसलिए उस के बड़े भाई ने तराजू के नीचे थोड़ा सा मोम लगा दिया जिससे उसे यह पता लग जाएगा कि उसने क्या तोला है जब अलीबाबा ने अशर्फी को तो लिया तो तराजू को वापस कर दिया और उस तराजू के नीचे मोम लगे होने के कारण एक अशर्फी भी लगी हुई रह गई जब बड़े भाई को तराजू मिली तो उसने देखा कि एक अशर्फी उस पर लगी हुई है अब उसे समझते हुए ज्यादा देर नहीं लगी वह समझ चुका था कि अली बाबा के पास बहुत सारी अशर्फियां हैं
यह बात जानने के लिए अलीबाबा के घर चला गया अलीबाबा ने अपने बड़े भाई को अच्छा समझा उसे सारी बात बता दी उसके बाद उसका बड़ा भाई मीर कासिम जंगल में गया जहां पर वह गुफा थी और मंत्र बोला और अंदर चला गया जब वह अंदर गया तो वहां पर उसे बहुत सारी अशर्फी सोना-चांदी दिखाई दिया और उसकी चमक में वह बाहर निकलने का मंत्री भूल गया इसके बाद कुछ देर तक इंतजार करने लगा कि मंत्र उसे याद आ जाएगा लेकिन वह याद नहीं आया और कुछ ही देर बाद गुफा का दरवाजा खुला
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जब दरवाजा खुला तो सभी चालीस चोर अंदर आ गया वह उनको देखकर छुप गया था लेकिन चालीस चोर के सरदार ने देखा कि एक घोड़ा अंदर आया है तो इसका मतलब यह है कि यहां पर कोई हमारे गुफा में छुपा हुआ है सभी लोग उसे ढूंढने लगे चालीस चोर के सरदार को मीर कासिम मिला तो उसने उससे पूछना चाहा कि तुम यहां पर कैसे आए हो लेकिन उसने कुछ नहीं बताया और वह वहीं पर मारा गया चोरों का सरदार यही सोच रहा था कि शायद यही एक आदमी होगा जिसे हमारे बारे में पता होगा
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इसलिए उसने उसे मार कर वहीं पर रख दिया जब अलीबाबा को पता चला कि आज बहुत समय से मीर कासिम आया नहीं है तो मीर कासिम की पत्नी उसे कहने लगी कि उन्हें ढूंढ कर लाओ कल के गए अभी तक वापस नहीं आए हैं अलीबाबा उन्हें ढूंढने के लिए जब गुफा के पास के पास पहुंचा तो वह देखकर घबरा गया क्योंकि उसका भाई मारा जा चुका था और भाई मीर कासिम को घर ले आया जब चालीस चोर के सरदार को यह पता चला कि यहां पर जिसे हम ने मारा था उसे कोई ले गया है तो इसका मतलब यह है कि इस गुफा के बारे में और कोई भी जानता है
चोरों के सरदार ने यह पता लगाने के लिए अपने कुछ आदमी गांव में भेजें जब चोरों ने यह पता लगा लिया कि वह आदमी जिसको वापिस कोई ले गया है तो उसके घर पर उन्होंने एक चिह्न लगा दिया उसके बाद चोर सरदार के पास गए उन्होंने कहा कि हमने पता लगा लिया है कि वह आदमी कौन हमारी गुफा के बारे में जानता है तभी सरदार ने कहा कि हम आज रात यह देखेंगे कि वह घर कौन सा है जिस पर तुमने चिन्ह लगाया है लेकिन जब सरदार यह पता लगाने के लिए आया कि वह घर कौन सा है तो उसके सामने बहुत सारे दरवाजे पर चिह्न लगे हुए दिखाई दिए
सरदार समझ चुका था कि वह बहुत ही तेज आदमी है इसलिए उसका पता लगाने के लिए सरदार ने एक व्यापारी का रूप बनाया और उस गांव में जाकर ठहर गया चोरों के सरदार ने पता लगा लिया था कि वह घर कौन सा है इसलिए उसी घर के पास ही वह सभी चोर इकट्ठे हो गए थे सभी चोर एक एक करके बहुत बड़े डिब्बे में बैठकर छुप गए जैसे किसी को यह पता ना लगे कि हम यहां पर हैं लेकिन अलीबाबा ने पता लगा लिया था कि चोर यहां पर आ गए हैं
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इसलिए उसने तेल गर्म करवाया और सभी डिब्बों में तिल डलवा दिया जिससे 38 चोर वहीं पर मारे गए लेकिन कुछ ही देर बाद जब सरदार ने इशारा किया कि अब हमें हमला बोल देना चाहिए लेकिन कोई भी चोर बाहर नहीं निकल पाया था इसलिए चोरों का सरदार वहां से भाग गया जब उसे यह पता चला कि सभी चोर मारे गए हैं उसके बाद कुछ दिन बाद सरदार वहां पर यह पता लगाने आया कि वह कौन है जिसने हमारे चोरों को मारा है जब उसे अलीबाबा के बारे में पता लगा तो उस सरदार को भी मरवा दिया गया इस तरह 40 चोरों का सफाया हो चुका था और अली बाबा की जिंदगी काफी अच्छी चल रही थी.
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