hindi moral kahani
जीवन की मोरल कहानी, (hindi moral kahani) जीवन में कभी भी हम यह नहीं देख पाते है की इंसान के साथ अच्छा नहीं हो रहा है तो हम उसकी मदद कर सकते है जिससे उसके जीवन में कुछ हद तक खुशिया आ जाए यह कहानी आपको पसंद आएगी,
जीवन की मोरल कहानी : hindi moral kahani
एक बार की बात है दोनों आदमी बात करते हुए आ रहे थे और कह रहे थे कि ऐसा बिल्कुल भी नहीं करना चाहिए हमें देखना चाहिए कि वह बहुत ही बुजुर्ग आदमी है वैसे तो सेठ उस बुजुर्ग आदमी को भी देख नहीं रहा था वह यह भी नहीं सोच रहा था कि उसकी उम्र इतनी अधिक हो गई है लेकिन वह फिर भी उससे अपना काम करवा रहा था जबकि ऐसा नहीं करना चाहिए
दूसरा आदमी बोला कि तुम सही कह रहे हो हमें यह भी ध्यान रखना चाहिए कि उसकी उम्र इतनी अधिक हो गई है और वह काम भी बड़ी मुश्किल से कर पा रहा है दोनों आदमी को यह बात बुरी लग रही थी तभी उन्होंने कहा कि हमें वापस चलना चाहिए और सेठ से इस बारे में बात करनी चाहिए दोनों आदमी वापस जाने लगे और सेठ ने देखा कि आप लोग फिर आ गए आप लोगों को तो मैंने कल बुलाया था
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वह दोनों आदमी कहने लगे कि आप हमारी बात नहीं समझे हम किसी और वजह से यहां पर आएं सेठ कहने लगा ठीक है बताओ क्या काम है वह दोनों आदमी कहने लगी कि वह बुजुर्ग आदमी बहुत ही मुश्किल से काम कर पा रहा है और तुम उस पर काम का बोझ अधिक बढ़ा रहे हो यह अच्छी बात नहीं है सेठ ने कहा कि मुझे तो अपना काम लेना है और इनकी मजदूरी मुझे दिन के हिसाब से देनी होती है मैं किसी को यहां पर जबरदस्ती तो बुलाता नहीं हूं अगर कोई काम करने का इच्छुक है तो मैं उसे काम दे देता हूं
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अगर मैं यह सोचने लगा कि वह काम नहीं कर पाएगा तो मैं फ्री में तो पैसे नहीं दे पाऊंगा दोनों आदमी कहने लगे कि तुम्हारी बात तो सही है लेकिन आपको इस बात का ध्यान देना चाहिए वह बहुत बुजुर्ग है आपको उसके लिए काम बहुत हल्के में देना चाहिए जिससे वह आसानी से कर सके सेठ ने कहा कि अगर किसी पर काम नहीं होता है तो वह अपने घर पर रह सकता है यहां आने की कोई जरूरत नहीं है और मैं किसी को बुलाता भी नहीं हूं जो यहां पर आता है उसे मैं काम दे देता हूं और अगर काम मेहनत का है तो उसे करना ही पड़ेगा उसके बाद दोनों आदमी यह सोचने लगे कि सेठ बिल्कुल भी बात को मानने को तैयार नहीं था इसलिए दोनों आदमी उस बुजुर्ग आदमी के पास गया और कहने लगे कि आप बैठ जाइए हम आप के बदले में काम कर देंगे
वह बुजुर्ग आदमी कहने लगा कि आपको ऐसा करने की कोई जरूरत नहीं है आप मेरा काम क्यों कर रहे हैं मैं अपना काम स्वयं ही कर लूंगा लेकिन वह दोनों आदमी नहीं माने और बुजुर्ग का काम करने लगे जब काम समाप्त हो गया तो बुजुर्ग आदमी से उन्होंने कहा कि आप आप घर जाइए आप की मजदूरी सेठ से मिल जाएगी सेठ ने जब यह देखा तो उसे अपने आप पर शर्मिंदगी महसूस होने लगी क्योंकि वह बुजुर्ग आदमी से बहुत ही ज्यादा काम करवा रहा था
दोनों आदमी सेठ के पास कहने लगे कि हम मानते हैं कि आप को काम की जरूरत है और आप सभी से काम लेते हैं लेकिन आप उनकी उम्र के हिसाब से भी काम दे सकते हैं जिससे उन्हें भी पैसों की समस्या ना हो और आपका काम भी हो जाए दोनों आदमी की बात सुनकर सेठ को समझ में आ गया था उस दिन के बाद से सेठ ने उस बुजुर्ग आदमी से ज्यादा काम नहीं करवाया और इस तरह इस सेठ में भी बातों का बदलाव हो चुका था अगर हम जीवन में सही बात को सही समय पर समझा सकते हैं तो उसका प्रभाव बहुत अधिक पड़ता है इसलिए जीवन में हमेशा सही फैसले लेने चाहिए और अच्छे काम करने चाहिए.
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